शब्द का अर्थ
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					झमक					 :
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					स्त्री० [हिं० झमकना] १. झमकने की क्रिया या भाव। २. झम झम के रूप में होनेवाला शब्द। ३. तीव्र उजाला या प्रकाश ४. ठसक। नखरा। (क्व०)				 | 
			
			
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				समानार्थी शब्द- 
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					झमकड़ा					 :
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					पुं०=झमक।(यह शब्द केवल स्थानिक रूप में प्रयुक्त हुआ है)				 | 
			
			
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					झमकना					 :
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					अ० [अनु० झमझम] १. रह-रहकर परन्तु तेजी से चमकना। २. झमझम शब्द होना। ३. झमझम शब्द करते हुए चलना-फिरना या उछलना-कूदना। ४. अकड़, ऐंठ या ठसक दिखाना। ५. अधिक मात्रा या तीव्र रूप में उपस्थित होना। छाना। जैसे–आँखों में नींद झमकना। स०=झमकाना।				 | 
			
			
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					झमकाना					 :
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					स० [हिं० झमकना का स० रूप०] १. ऐसा काम करना जिससे कोई चीज खूब झमके या अपनी चमक-दमक दिखलावे। जैसे–कपड़े गहने या हथियार झमकाना। २. झमझम शब्द उत्पन्न करना।				 | 
			
			
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					झमकारा					 :
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					वि० [हिं० झमझम] १. झमकानेवाला। २. (बादल) जो बरसने को हो।				 | 
			
			
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					झमकीला					 :
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					वि० [हिं० झमकना+इला (प्रत्यय)०] १. चमकीला। २. अकड़ या ऐंठ दिखानेवाला।				 | 
			
			
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					झमक्का					 :
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					पुं०=झमाका।(यह शब्द केवल स्थानिक रूप में प्रयुक्त हुआ है)				 | 
			
			
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