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संकटा प्रसाद के किस्से

सुधीर मौर्य

प्रकाशक : माण्डवी प्रकाशन प्रकाशित वर्ष : 2013
पृष्ठ :80
मुखपृष्ठ : सजिल्द
पुस्तक क्रमांक : 8883
आईएसबीएन :8182120578

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संकटा प्रसाद के किस्से के माध्यम से व्यंग्यकार ने सामाजिक कुव्यवस्थाओं पर धारदार प्रहार किया है...

Ek Break Ke Baad

प्रस्तुत हैं पुस्तक के कुछ अंश

सुधीर जी जीवन के वास्तविक अनुभवों से विषय वस्तु उठाते हैं, जो सामान्य है पर उसमें विडंबना और विद्रूप है। वे व्यक्तित्वो को इन अनुभवों से गुजरते हुये देखते हैं और उनकी स्थिति और बर्ताव में जो विनोद तथा व्यंग्य होता है, उसे नपे तुले शब्दों में व्यक्त कर देते हैं। वे असाधारण की तलाश में नहीं रहते।

इसलघु उपन्यास में उन्होंने संकटाप्रसाद को केन्द्र बना कर समाज के हर कोने में ताकाझांकी कर बड़े ही करारे और तीखे किन्तु सत्य व्यंग्य किये हैं।

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