नेहरू बाल पुस्तकालय >> सबका साथी सबका दोस्त सबका साथी सबका दोस्तउमाशंकर जोशी
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नेशनल बुक ट्रस्ट द्वारा प्रकाशित नेहरू बाल पुस्तकालय की बच्चों के लिए एक सचित्र रोचक पुस्तक
Sabka Sathi Sabka Dost - A hindi book by Umashankar Joshi
प्रस्तुत हैं पुस्तक के कुछ अंश
उस रात अंधेरा बहुत घना था। मोहन को तो यो भी भूत-प्रेत से बड़ा डर लगता था। अंधेरे में अकेला जाता तो यही डर लगा रहता कि कहीं किसी कोने से भूत-पिशाच न आ धमके। फिर उस रात को तो सचमुच हाथ को हाथ नहीं सूझ रहा था। मोहन को कमरे से बाहर जाना था। बाहर निकला तो पैर मानो जम गये। दिल धौंकनी की तरह चलने लगा। संयोग से पास ही घर की पुरानी दाई रम्भा खड़ीं थीं। उसने हँसकर पूछा, ‘क्या हुआ मोहन?’
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