नई पुस्तकें >> हवा का रंग हवा का रंगदेवीप्रिया
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गालि रंगु : देवीप्रिया की उपलब्ध तेलुगु कविता संग्रह का हिंदी अनुवाद। इस कृति में सामाजिक जागरूकता के विभिन्न विषयों को समाहित किया गया है।
साहित्य अकादेमी द्वारा देवीप्रिया के पुरस्कृत तेलुगु कविता-संग्रह ‘गालि रंगु’ का हिंदी अनुवाद है। इस कृति में सामाजिक जागरूकता के विभिन्न विषय शामिल हैं। कवि देवीप्रिया की चिंताएँ और सरोकार राष्ट्रीय और वैश्विक स्तर पर हुए परिवर्तनों और उनके परिणामों पर केंद्रित हैं। इस संग्रह की कविताएँ मानव-मूल्यों के क्षरण, खोखले चरित्र वालों और पर्यावरण को नुकसान पहुँचाने वाले लोगों को कटघरे में खड़ा करती हैं। साथ ही ये कविताएँ नए भारत के निर्माण में ऐसे सभी सामाजिक, राजनीतिक और सांस्कृतिक अवसरवादियों का बहिष्कार करने की सार्थक अपील भी करती हैं। प्रकृति का संबल इन कविताओं की ऊर्जा और तेजस्विता का प्राणतत्त्व है। सुबोध और संप्रेषणीय भाषा के कारण यह कृति सामान्य पाठकों से संवाद स्थापित कर सकने की क्षमता रखती है। ऐसी आशा है कि इस संग्रह की कविताएँ भारतीय साहित्य की सामर्थ्य और गरिमा में अभिवृद्धि करेंगी।
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