नई पुस्तकें >> जज्बात जज्बातअग्निवेष त्रिपाठी
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सरलमना कवि अग्निवेष का काव्य संसार
'जज़्बात' मेरे परम मित्र अग्निवेष त्रिपाठी का प्रथम काव्य संग्रह है। अग्निवेष जी हरफनमौला प्रकृति के स्वनामधन्य रचनाकार हैं। जो काव्य की हर विधा में सुविधा के साथ लिखते पढ़ते हैं। उनका यह क्रम अधिकांशतः स्वान्तःसुखाय ही होता है। अग्निवेष जी की कविताओं में मन को उद्वेलित करने वाले सभी विषयों का सहज-सरल निरूपण अत्यंत स्वाभाविक लगता है। जहाँ भाषा-व्याकरण का कोई बंधन नहीं है। बस अपने जज़्बातों का संप्रेषण ही महत्वपूर्ण है। और वह इसमें सफल भी हैं।
भाव की नाव पर सवार होकर जब वे विचारों के सागर में तिरते हुए कहते हैं कि
अपनी मस्ती में चूर रहते हैं”
तो लगता है जैसे कोई फकीर अनहद-नाद के सौंदर्य में घुलमिल गया हो। 'जज़्बात' में इसके स्वर साफ सुनाई पड़ते हैं। यही अग्निवेष त्रिपाठी में रचे-बसे कवि की विशेषता भी है।
एतदर्थ बधाई, साधुवाद एवं 'जज़्बात' काव्य-संग्रह की सफलता हेतु अनंत मंगल कामनायें।
- ओम नारायण शुक्ल
बशोदा नगर, कानपुर नगर
फोन. 9026567679
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