कहानी संग्रह >> कैरियर, गर्लफ्रैंड और विद्रोह कैरियर, गर्लफ्रैंड और विद्रोहअनुज
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अपनी पहली कहानी, 'कैरियर, गर्लफ्रैंड और विद्रोह' से हिन्दी जगत का ध्यान खींच लेने वाले अनुज की कहानी में सब कुछ सवाक और सजीव है
अपनी पहली कहानी, 'कैरियर, गर्लफ्रैंड और विद्रोह' से हिन्दी जगत का ध्यान खींच लेने वाले अनुज की कहानी में सब कुछ सवाक और सजीव है। वे सीधे हमें अपने विश्वविद्यालय परिसर में हमें ले चलते हैं जहाँ वामपंथी और दक्षिणपंथी छात्र-समूहों का कोलाहल छात्रसंघ के चुनावों में उभर कर आता है, अधिसंख्य छात्रों के चेतना गर्लफ्रैंड, ब्वॉयफ्रैंड और कैरियर तक सीमित है। दिक्कत 'विद्रोही' जैसे इन थोड़े से विद्यार्थियों की है जो आसपास के कस्बों से इस राष्ट्रीय परिसर में अपना भविष्य सँवारने के लिए आते हैं और अन्ततः अपना कैरियर बर्बाद कर बैठते हैं।
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